नई दिल्ली:उत्तर प्रदेश में पोस्ट-ग्रेजुएशन (पीजी) मेडिकल कोर्स के छात्रों को 10 साल तक राज्य के अस्पतालों में सेवा देनी होगी| यदि कोई छात्र ऐसा करने में विफल रहता है, तो उसे एक करोड़ रुपये का जुर्माना देना होगा| योगी सरकार ने शनिवार को पीजी मेडिकल पाठ्यक्रमों के छात्रों के लिए 10 साल की सेवा अनिवार्य करने की घोषणा की|
उत्तर प्रदेश सरकार ने 'पीजी' (Post Graduation ) करने के बाद डॉक्टर्स को 10 साल सरकारी सेवा करने के फ़ैसले को 3 अप्रैल 2017 का फैसला बताया है| यूपी सरकार ने कहा,''प्रदेश में पी.जी. करने के के बाद डॉक्टर्स को 10 साल तक काम करना होगा वरना उन्हें 1 करोड़ रु. की धनराशि जमा करनी होगी' ये कोई नई खबर नहीं, ये शासनादेश 3 अप्रैल 2017 को ही जारी कर दिया गया था|
अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने कहा,'यूपी सरकार ने राज्य में पोस्ट ग्रेजुएशन कोर्स पूरा करने के बाद मेडिकल छात्रों के लिए विभाग में 10 साल की सेवा देने का आदेश दिया है। ऐसा करने में असफल रहने वाले को 1 करोड़ रुपये का जुर्माना देना होगा| बीच में कोर्स छोड़ने वाले को अगले तीन साल के लिए पीजी डिग्री कोर्स से डिबार कर दिया जाएगा|
अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने कहा,''कुछ लोगों से सूचना मिली कि सोशल मीडिया पर एक खबर चली है कि जो डॉक्टर पी.जी. करते हैं उसके बाद उन्हें 10 साल तक काम करना होगा वरना उन्हें 10 करोड़ रु. की धनराशि जमा करनी होगी। ये कोई नई खबर नहीं है, ये शासनादेश 3 अप्रैल 2017 को ही जारी कर दिया गया था|