नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए फिक्की की 93वीं वार्षिक आम बैठक का उद्घाटन किया। फिक्की की 93वीं वार्षिक आम बैठक के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा,'हम लोगों ने 2020 के मैच में तेज़ी के साथ बहुत कुछ बदलते देखा है। देश, दुनिया इतने उतार-चढ़ाव से गुजरी है कि कुछ वर्षाें बाद जब हम कोरोना काल को याद करेंगे तो शायद यकीन ही नहीं आएगा। जितनी तेज़ी से हालात बिगड़े उतनी ही तेज़ी के साथ सुधर भी रहे |
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा,'जब फरवरी-मार्च में महामारी शुरू हुई, तो हम एक अज्ञात दुश्मन के खिलाफ लड़ रहे थे। बहुत सारी अनिश्चितताएँ थीं - यह उत्पादन, रसद, अर्थव्यवस्था का पुनरुद्धार - कई मुद्दे थे। सवाल था, यह कब तक चलेगा? हालात कैसे सुधरेंगे? दिसंबर तक स्थिति बदल गई है। हमारे पास रोडमैप के साथ-साथ जवाब भी हैं। आज आर्थिक संकेतक उत्साहजनक हैं। संकट के समय राष्ट्र द्वारा सीखी गई बातों ने भविष्य के संकल्पों को और मजबूत किया है
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा,'कोरोना महामारी के समय भारत ने अपने नागरिकों के जीवन को सर्वोच्च प्राथमिकता दी, ज्यादा से ज्यादा लोगों का जीवन बचाया। आज इसका नतीजा देश भी देख रहा है और दुनिया भी देख रही है। भारत ने जिस तरह बीते कुछ महीनों में एकजुट होकर काम किया, नीतियां बनाई, निर्णय लिए हैं, स्थितियों को संभाला है । उसने पूरी दुनिया को चकित करके रख दिया है।
मोदी ने कहा,'आज अर्थव्यवस्था के सूचक(इंडिकेटर) उत्साह बढ़ाने वाले हैं। देश ने संकट के समय जो सीखा उसने भविष्य के संकल्पों को और दृढ़ किया है|भारत का कॉर्पोरेट कर दुनिया में सबसे अधिक प्रतिस्पर्धी है। हम उन कुछ देशों में से एक हैं जिनके पास फेसलेस मूल्यांकन और फेसलेस अपील की सुविधा है।हमने इंस्पेक्टर राज और कर आतंकवाद के युग को पीछे छोड़ दिया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा,'' दुनिया का जो विश्वास बीते छह वर्षाें में भारत पर बना था, वो बीते महीनों में और मजबूत हुआ है। FDI हो या FPI, विदेशी निवेशकों ने भारत में रिकाॅर्ड निवेश किया है और निरंतर कर रहे हैं|अनुभव रहा है कि पहले के समय की नीतियों ने कई क्षेत्रों में अदक्षता को संरक्षण दिया, नए प्रयोग करने से रोका। जबकि आत्मनिर्भर भारत अभियान हर क्षेत्र में दक्षता को बढ़ावा देता है|
farm laws पर मोदी ने कहा,कृषि क्षेत्र और इससे जुड़े अन्य सेक्टर के बीच की दीवारों को हटाया जा रहा है। इन रिफॉर्म्स के बाद किसानों को नए बाज़ार, नए विकल्प और तकनीक का ज़्यादा लाभ मिलेगा। इन सब से कृषि क्षेत्र में ज़्यादा निवेश होगा और इसका सबसे ज़्यादा फायदा देश के किसान को होगा|