औरैया: भाजपा ने आगामी उत्तर प्रदेश चुनावों के लिए उम्मीदवारों की दूसरी सूची जारी की है। भाजपा छोड़ सपा में शामिल विधायक विनय शाक्य की बेटी रिया शाक्य को BJP ने बिधूना से टिकट दिया| बता दें कि 14 जनवरी को स्वामी प्रसाद मौर्य के साथ विनय शाक्य ने भी समाजवादी पार्टी का दामन थाम लिया था| विनय शाक्य बिधूना से विधायक है|
औरैया के बिधूना से भारतीय जनता पार्टी के विधायक विनय शाक्य ने 13 जनवरी को इस्तीफा दे दिया था| विनय शाक्य ने अपने त्याग पत्र में लिखा था, "स्वामी प्रसाद मौर्य दलितों की आवाज हैं और वह हमारे नेता हैं। मैं उनके साथ हूं।"
शाक्य ने यूपी बीजेपी चीफ स्वतंत्र देव सिंह को भेजे इस्तीफे में कहा था कि भाजपा सरकार द्वारा 5 वर्ष के कार्यकाल में दलित, पिछड़ों और अल्पसंख्यक समुदाय के नेताओं व जनप्रतिनिधियों को कोई तवज्जो नहीं दी गई और ना उन्हें उचित सम्मान दिया गया|
विनय ने कहा था 'प्रदेश सरकार द्वारा दलितों, पिछड़ों, किसानों व बेरोजगार नौजवानों और छोटे-लघु एवं मध्यम श्रेणी के व्यापारियों की भी घोर उपेक्षा की गई है| प्रदेश सरकार के ऐसे रवैया के कारण मैं भाजपा की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देता हूं| स्वामी प्रसाद मौर्य, शोषित और पीड़ितों की आवाज हैं, मैं उनके साथ हूं|
बता दें कि पूर्व कैबिनेट मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य के भाजपा से इस्तीफा देने व सपा में शामिल होने के बाद से ही बिधूना विधायक विनय शाक्य के पार्टी छोडऩे की अटकलें तेज हो चली थीं।
स्वामी प्रसाद मौर्य के बेहद करीबी होने की वजह से उन्होंने चुनाव-2022 में दल-बदल के बीच उनका साथ दिया। विनय शाक्य बिधूना से ही 2007 में बसपा से चुनाव लड़कर विधायक रह चुके हैं। इसके उपरांत बसपा में ही उन्हें एमएलसी बनाकर राज्य मंत्री का दर्जा देकर बाह्य सहायता प्रकोष्ठ का अध्यक्ष बनाया गया था। एमएलसी रहते वर्ष 2012 विधानसभा चुनाव में उनके भाई देवेश शाक्य को बसपा से बिधूना से प्रत्याशी बनाया था। इसमें देवेश की हार हुई थी। वर्ष 2017 में होने वाले चुनाव में भाजपा के टिकट पर विनय विधानसभा पहुंचे।