‘पहले प्रहार फिर विचार’...: देशभर में जारी बवाल के बीच 'अग्निपथ' योजना' में लगातार बदलाव को लेकर मोदी सरकार पर भड़के वरुण गांधी
नई दिल्ली: देश के अलग-अलग राज्यों में अग्निपथ के खिलाफ हो रहे प्रदर्शन तेज हो गए है। इस बीच भारतीय जनता पार्टी (BJP) सांसद वरुण गांधी ने 'अग्निपथ योजना' को लेकर एक बार फिर अपनी ही सरकार पर हमला बोला है| 'अग्निपथ योजना' में किए गए संशोधन पर वरुण गांधी ने कहा,''अग्निपथ योजना' को लाने के बाद महज कुछ घंटे के भीतर इसमें किए गए संशोधन यह दर्शाते हैं कि संभवतः योजना बनाते समय सभी बिंदुओं को ध्यान में नहीं रखा गया|
भारतीय जनता पार्टी (BJP) सांसद वरुण गांधी ने ट्वीट किया,'''अग्निपथ योजना' को लाने के बाद महज कुछ घंटे के भीतर इसमें किए गए संशोधन यह दर्शाते हैं कि संभवतः योजना बनाते समय सभी बिंदुओं को ध्यान में नहीं रखा गया। जब देश की सेना, सुरक्षा और युवाओं के भविष्य का सवाल हो तो ‘पहले प्रहार फिर विचार’ करना एक संवेदनशील सरकार के लिए उचित नहीं।
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने अग्निपथ योजना पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए केंद्र सरकार पर मनमाने फैसले थोपने का आरोप लगाया है| अखिलेश यादव ने केंद्र सरकार पर देश की ऊर्जा व जनशक्ति सरकार की जनविरोधी नीतियों व योजनाओं के विरोध में ही बर्बाद करने का आरोप लगया है|
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने ट्वीट किया,''
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ये लोकतांत्रिक शब्द भाजपाई शब्दकोश में नहीं हैं।तभी बार-बार देश पर मनमानी भरे फ़ैसले थोपे जा रहे हैं,जिससे देश की ऊर्जा व जनशक्ति सरकार की जनविरोधी नीतियों व योजनाओं के विरोध में ही बर्बाद हो रही है।
अग्निवीरों के लिए रक्षा मंत्रालय की नौकरियों में मिलेगा 10% आरक्षण
बताते चलें कि, 'अग्निपथ' के खिलाफ देशभर में जारी बवाल के बीच अब रक्षा मंत्रालय ने भी अग्निवीरों को अपने मंत्रालय में होने वाली भर्तियों में 10 फीसदी आरक्षण देने का ऐलान किया है। रक्षा मंत्रालय के इंडियन कोस्ट गार्ड और डिफेंस सिविलियन पोस्ट के साथ डिफेंस पब्लिक सेक्टर अंडरटेकिंग की 16 कंपनियों में भी नियुक्तियों में आरक्षण मिलेगा। 'अग्निपथ' के खिलाफ देशभर में जारी बवाल के बीच 3 दिन में सरकार का तीसरा संशोधन है|
राजनाथ सिंह ने आवश्यक पात्रता मानदंडों को पूरा करने वाले अग्निवीरों के लिए रक्षा मंत्रालय में नौकरी की रिक्तियों के 10% को आरक्षित करने के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है। यह 10% आरक्षण भारतीय तटरक्षक बल, रक्षा असैन्य पदों और सभी 16 रक्षा सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों में लागू किया जाएगा।
इन प्रावधानों को लागू करने के लिए प्रासंगिक भर्ती नियमों में आवश्यक संशोधन लागू किए जाएंगे। डीपीएसयू को सलाह दी जाएगी कि वे अपने संबंधित भर्ती नियमों में समान संशोधन करें। उपरोक्त नौकरियों में अग्निवीरों की भर्ती के लिए आवश्यक आयु सीमा में छूट का प्रावधान भी किया जाएगा।
CAPFs और असम राइफल्स में होने वाली भर्तियों में 10% रिक्तियों को आरक्षित करने का निर्णय
इससे पहले, आज ही केन्द्र सरकार द्वारा घोषित अग्निपथ योजना के अंतर्गत 4 साल पूरा करने वाले अग्निवीरों के लिए केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने CAPFs और असम राइफल्स में होने वाली भर्तियों में 10% रिक्तियों को आरक्षित करने का निर्णय लिया है। गृह मंत्री कार्यालय ने ट्वीट्स के ज़रिए बताया कि “गृह मंत्रालय ने CAPFs और असम राइफल्स में होने वाली भर्तियों में अग्निपथ योजना के अंतर्गत 4 साल पूरा करने वाले अग्निवीरों के लिए 10% रिक्तियों को आरक्षित करने का महत्वपूर्ण निर्णय लिया है।
” ट्वीट के ज़रिए कहा गया कि “साथ ही गृह मंत्रालय ने CAPFs और असम राइफल्स में भर्ती के लिए अग्निवीरों को निर्धारित अधिकतम प्रवेश आयु सीमा में 3 वर्ष की छूट देने का निर्णय किया है, और, अग्निपथ योजना के पहले बैच के लिए यह छूट 5 वर्ष होगी।”
अग्निपथ योजना के लिए प्रवेश की उम्र बढ़ाई गई
गौरतलब है कि,''गुरुवार को सरकार ने अग्निपथ योजना के लिए ऊपरी आयु सीमा में 21 वर्ष से बढ़ाकर 23 वर्ष करने के लिए एकमुश्त छूट प्रदान की है। पिछले दो वर्षों में कोई भर्ती नहीं होने के कारण यह निर्णय लिया गया है| यह बढ़ोतरी सिर्फ एक साल के लिए ही मान्य होगी। इसके बाद आयुसीमा 21 साल की ही रहेगी|
रक्षा मंत्रालय के मुताबिक, अग्निपथ योजना की शुरुआत के बाद, सशस्त्र बलों में सभी नए रंगरूटों के लिए प्रवेश की उम्र 17 ½ - 21 वर्ष निर्धारित की गई है। इस तथ्य को ध्यान में रखते हुए कि पिछले दो वर्षों के दौरान भर्ती करना संभव नहीं हुआ है, सरकार ने 2022 के लिए प्रस्तावित भर्ती चक्र के लिए एकबारगी छूट देने का निर्णय लिया है।तदनुसार, 2022 के लिए अग्निपथ योजना के तहत भर्ती प्रक्रिया के लिए ऊपरी आयु सीमा को बढ़ाकर 23 वर्ष कर दिया गया है।
