गुजरात में सबसे बड़ा कोयला घोटाला: खदानों से निकला “60 लाख टन कोयला” रास्ते में गायब, 6 हजार करोड़ रुपए की चपत
नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गृहराज्य गुजरात से फिर एक बड़ा घोटाला उजागर हुआ है। यह घोटाला कोल इंडिया की खदानों से गुजरात के व्यापारियों व छोटे उद्योगों के नाम पर लाखों टन कोयला गायब करने का है। एक जांच में सामने आया है कि, खदानों से निकला लगभग 60 लाख टन कोयला रास्ते में गायब किया गया और सरकार के अधिकारियों तथा व्यापारियों ने उसे बेचकर 6 हजार करोड़ रुपए कमाए।
कोल इंडिया की विभिन्न कोयला खदानों से निकाला गया कोयला उन उद्योगों तक पहुंचा ही नहीं, जिनके लिए उसे निकाला गया था। मिले दस्तावेज, 60 लाख टन कोयला भेजने की एंट्री है अब तक कोल इंडिया की खदानों से गुजरात के व्यापारियों, छोटे उद्योगों के नाम पर 60 लाख टन कोयला भेजा गया है।
इसकी औसत कीमत 3,000 रुपए प्रति टन के हिसाब से 1,800 करोड़ रुपए होती है, लेकिन इसे व्यापारियों और उद्योगों को बेचने के बजाय 8 से 10 हजार रुपए प्रति टन की कीमत पर अन्य राज्यों में बेचकर कालाबाजारी की गई है।
घोटाला उजागर होने के बाद इस मामले पर केंद्र सरकार के कोयला मंत्रालय के सचिव अनिल जैन का बयान आया है। उन्होंने कहा है कि, केंद्र सरकार की ओर से कोयला राज्य सरकार द्वारा नियुक्त एजेंसियों (SNA) को दिया जाता है। इसके बाद केंद्र की (हमारी) भूमिका पूरी हो जाती है।वहीं, कोल इंडिया के निदेशक सत्येंद्र तिवारी ने भी अपना बचाव किया। उन्होंने कहा कि, एजेंसियों को नियुक्त करना राज्य सरकार के उद्योग विभाग की जिम्मेदारी होती है।
https://www.thevirallines.net/india-news-biggest-scam-in-banking-history-gujarat-abg-shipyard-defrauded-banks-of-rs-22842-crore
