पटना: लोक जनशक्ति पार्टी (LJP) में टूट हो गई है और चाचा-भतीजे में अब वर्चस्व की लड़ाई जारी है। लोक जनशक्ति पार्टी (LJP) में वर्चस्व कायम रखने के लिए पारस और चिराग गुट आमने-सामने है। इधर राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए पशुपति कुमार पारस को अध्यक्ष चुन लिया गया है।लोक जनशक्ति पार्टी (LJP) की राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक में पशुपति कुमार पारस को पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष चुना गया है|
मुझे निर्विरोध पार्टी राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए निर्वाचित किया गया... हमारे जो साथी पार्टी में किसी बड़े नेता से दुखी होकर पार्टी छोड़कर चले गए हैं, मैं उनसे माफी मांगता हूं। आग्रह है कि सभी लोग हमारी पार्टी में लौट आएं: लोजपा के नवनिर्वाचित राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति कुमार पारस
लोक जनशक्ति पार्टी के हमारे कार्यकर्ताओं को मैं विश्वास दिलाता हूं कि लोजपा के अंदर कोई मतभेद नहीं है, कोई विरोध नहीं है, अगर विरोध होता तो मैं निर्विरोध निर्वाचित नहीं होता: लोजपा के नवनिर्वाचित राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति कुमार पारस
प्रजातांत्रित व्यवस्था में ये कहीं नहीं है कि कोई व्यक्ति आजीवन राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे। हमारी पार्टी का जो संविधान है, उसमें प्रत्येक 2-3 वर्ष में अध्यक्ष का चुनाव होना है: लोजपा के नवनिर्वाचित राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति कुमार पारस
प्रजातंत्र से पार्टी चलती है, प्रजातंत्र से देश चलता है, प्रजातंत्र से संविधान चलता है। चाचा और भतीजे की जब बात है, जब भतीजा तानाशाह हो जाएगा तो चाचा क्या करेगा: लोजपा के नवनिर्वाचित राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति कुमार पारस