लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने केंद्र की मोदी व यूपी की योगी सरकार पर बड़ा तंज कसा है। मुजफ्फरनगर में कल हुई किसान महापंचायत को लेकर सोमवार को उन्होंने कहा कि किसानों का आक्रोश देखकर डबल इंजन के सारे ड्राइवर नदारद हो गये हैं। मुज़फ़्फ़रनगर ने एक ऐसी ‘जनक्रांति’ को जन्म दिया है जो देश को भाजपा की नफ़रत भरी राजनीति के अंधकार से निकालकर अमन-चैन और तरक़्क़ी की नयी रोशनी की ओर ले जाएगी।
समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ट्वीट कर कहा कि,'' किसानों का आक्रोश देखकर डबल इंजन के सारे ड्राइवर नदारद हो गये हैं। भाजपा में भगदड़ मच गयी है। उप्र के मुज़फ़्फ़रनगर ने एक ऐसी ‘जनक्रांति’ को जन्म दिया है जो देश को भाजपा की नफ़रत भरी राजनीति के अंधकार से निकालकर अमन-चैन और तरक़्क़ी की नयी रोशनी की ओर ले जाएगी। #भाजपा_ख़त्म
इससे पहले आज यानी सोमवार को अखिलेश यादव ने कहा है कि प्रदेश में डेंगू, वायरल बुखार से हाहाकार मचा हुआ है, अस्पतालों में भारी भीड़ है, समय से समुचित इलाज न मिलने से बच्चों की मौंते हो रही है, सत्तारूढ़ भाजपा सरकार और मुख्यमंत्री जी इसके बावजूद ‘आल इज वेल‘ का झूठा दावा कर रहे हैं। ध्वस्त स्वास्थ्य सेवाओं की ओर भाजपा सरकार का ध्यान नहीं है।
अखिलेश यादव ने कहा कि,' डेंगू बुखार ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश में सैकड़ों मासूमों की जान ली। अब पूर्वी उत्तर प्रदेश में भी इसका प्रकोप दिखाई दे रहा है। खुद राजधानी लखनऊ के अस्पतालों से मरीजों की भीड़ सम्हाले नहीं सम्हल रही है। हालत बिगड़ने की वजह से दवाइयों तक का स्टाक कम हो गया है। गम्भीर बीमार भी अस्पतालों से वापस किए जा रहे हैं। बेड न होने के बहाने से उनका प्राथमिक उपचार भी नहीं किया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि,'' फिरोजाबाद, मथुरा, मैनपुरी, कानपुर, फर्रुखाबाद सहित कई जनपदों में मातम पसरा हुआ है। बच्चों को खो चुकी माताओं की चीखें विज्ञापनों के हवाई दावों से परे वह हकीकत है जिसने सैकड़ों घरों को आंसुओं के समंदर में डुबो दिया है। मथुरा में एक बीमार बच्चे का पिता अधिकारी के पैरों में गिरकर इलाज कराने की गुहार लगा रहा है। एक दिव्यांग महिला अपने दुधमुंहे बच्चे को गोदी में लिए इलाज के लिए गुहार लगा रही है जिसे अस्पताल वालों ने इलाज के बजाय बाहर खदेड़ दिया।
समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा,''भाजपा सरकार में संवेदना छू भी नहीं गई है। बुलंदशहर के जिला अस्पताल में छत टपक रही है। राजधानी के अस्पताल में सीलन दूर नहीं हो पाई है। सीतापुर में समाजवादी सरकार के समय करोड़ों रूपयों से ट्रामा सेंटर बने 5 साल बीतने को है, अभी तक चालू नहीं किया गया है।
उन्होंने कहा कि,कोरोना की दूसरी लहर में प्रदेश में लाशों का खेल होता रहा। मुख्यमंत्री जी दावा करते रहे कि तीसरी लहर आने से पहले ही सब तैयारियां कर ली गई है। वार्डों में बेड बढ़ गए है, दवांए पर्याप्त हैं परन्तु डेंगू के पहले दौर में ही स्वास्थ्य सेवाओं की बदहाली का आलम यह है कि गरीब आदमी न जी पा रहा है, ना मर पा रहा है। इलाज उसके लिए चांद सितारों को तोड़कर लाने जैसा हो गया है।
अखिलेश यादव ने कहा कि,' भाजपा जनता के स्वास्थ्य और कल्याण के प्रति जितनी उपेक्षा दिखा रही है उससे भाजपा के खिलाफ व्यापक जनरोष की लहर चल रही है। भाजपा की दमनकारी, दम्भी सत्ता अब कभी वापस नहीं आएगी। सभी सन् 2022 में समाजवादी सरकार बनने के बारे में विश्वस्त है।