मेरठ: केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों को लेकर अभी भी किसानों का प्रदर्शन जारी है। किसान भीषण ठंड में भी सड़कों पर डटे हुए हैं।कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का आंदोलन सातवें दिन और जोर पकड़ लिया है|
यूपी के मेरठ में परिवार के पुरुष सदस्यों के किसान आंदोलन में भाग लेने के चलते महिलाएं खेत में काम कर रही हैं। निशू चौधरी नाम की एक छात्रा ने बताया, "मेरे परिवार के लोग पापा, चाचा, भाई और क्षेत्र के लोग किसान आंदोलन में गए हैं। इसलिए हम खेत में आकर काम कर रहे हैं। ताकि हमारी फसल खराब न हो।"
मंगलवार को केंद्र के साथ बातचीत बेनतीजा रहने के बाद किसानों के मुख्य संगठनों ने एक बार फिर आज मीटिंग बुलाई थी| सिंघु बॉर्डर पर यह बैठक चार घंटे तक चली|
वहीं नोएडा में किसान आंदोलन में शामिल होने के लिए दिल्ली कूच कर रहे किसानों को पुलिस ने डॉ. अंबेडकर मेमोरियल पार्क में शिफ्ट किया। किसान नेता ने बताया, "हमें गिरफ्तार कर अस्थायी ज़ेल में डाल दिया गया है। जिस दिन ये हमें रिहा करेंगे हम वापिस दिल्ली कूच करेंगे।"
चिल्ला बॉर्डर पर किसान नेता भानु प्रताप सिंह ने बताया, "जब तक हमारी PM मोदी से आमने-सामने बैठकर बात नहीं होगी तब तक आंदोलन जारी रहेगा। जब हरियाणा-पंजाब के किसानों को दिल्ली आने से रोका गया तो हमने जल्दबाजी में दिल्ली कूच किया। हम तैयारी से नहीं आए थे पर अब यहीं रहेंगे और तैयारी करते रहेंगे|