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गोंडा: तीन महीने से तैयार कार्ययोजना फाइलों में ही कैद, 451 करोड़ का प्रस्ताव हुआ तैयार

  • by: news desk
  • 22 December, 2020
गोंडा: तीन महीने से तैयार कार्ययोजना फाइलों में ही कैद, 451 करोड़ का प्रस्ताव हुआ तैयार

गोंडा:विकास कार्यों को रफ्तार देने के लिए हर साल बजट तैयार होता है। विभागों के प्रस्तावों को शामिल करके जिला योजना समिति की बैठक में अनुमोदन कराया जाता है। इस बार भी वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए 451 करोड़ का प्रस्ताव तैयार हुआ है, इससे सड़क, बिजली, पानी जैसी मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराया जाना है। योजना तैयार हो गई है और बैठक में अनुमोदन किए जाने का इंतजार हो रहा है।



सोमवार को इसकी बैठक तय हुई थी लेकिन रविवार की देर रात को प्रभारी मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह ने कार्यक्रम स्थगित कर दिया है। इससे ऐन वक्त पर फिर बैठक टल गई। कार्य योजना फिर फाइलों में बंद हो गई है, अभी नई तिथि पूरी तरह तो तय नहीं है। लेकिन माना जा रहा है कि 25 दिसबंर को फिर से बैठक संभावित है।जिला योजना के तहत वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए 451 करोड़ रुपये का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।



इसके बाद विभागवार लक्ष्य निर्धारित करके कार्य योजना तैयार की गई है। तीन महीने से तैयार कार्ययोजना फाइलों में ही कैद है। अभी तक मंजूरी अभी तक नहीं मिल सकी है। वित्तीय वर्ष में सिर्फ तीन माह बचे हैं तो ऐसे में जिला योजना की बैठक कराकर इसे अनुमोदित कराने पर जोर दिया जा रहा है। इसके लिए सारी तैयारी बीते दिनों हो गई है और सोमवार को अनुमोदन तया हो गया था। लेकिन प्रभारी मंत्री का कार्यक्रम स्थगित होने से बैठक फिर टल गई है।




जिला अर्थ एवं संख्या अधिकारी डॉ. नरेंद्र कुमार कहते हैं कि कोरोना संक्रमण के कारण बैठक कराने में देरी हुई है और सोमवार की बैठक प्रभारी मंत्री का कार्यक्रम टलने से स्थगित किया गया है। 25 दिसंबर को बैठक की उम्मीद जताई जा रही है। पिछले साल से 42 करोड़ अधिक की है कार्य योजना जिले के विकास की कार्य योजना इस बार 451.00 करोड़ रुपये का है जो वित्तीय वर्ष 2020-21 में खर्च किए जाने के लिए प्रस्तावित है। तय किया गया बजट बीत रहे वित्तीय वर्ष 42 करोड़ अधिक है। 



वित्तीय वर्ष 2019- 20 में 409 करोड़ 12 लाख का बजट अनुमोदित हुआ था और 300 करोड़ 71 लाख रूपए का आवंटन और खर्च अब तक हो चुका है। इस बार जिला योजना के बजट के लिए कार्य योजना 43 विभागों से मांगी गई थी। जिसमें 35 विभागों से कार्य योजना दी गई है। जिला योजना के बजट से जनहित के कार्य प्रस्तावित किए गए हैं। जिसमें किसानों को बीज खरीद पर अनुदान का वितरण, गन्ना नर्सरी उत्पादन पर अनुदान, लघु एवं सीमांत कृषकों को आर्थिक सहायता, किसानों के खेतों में निश्शुल्क बोरिग की स्थापना, पशुओं का टीकाकरण, पौधारोपण, स्वयं सहायता समूहों का गठन व अनुदान वितरण, मनरेगा के तहत रोजगार सृजन, शौचालय निर्माण, सोलर लाइट की स्थापना, सड़क, नाली निर्माण, पुल निर्माण, खेलकूद गतिविधियां, हैंडपंप की स्थापना, छात्रवृत्ति वितरण आदि कार्य शामिल हैं।




वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए बनी कार्य योजना पर एक नजर

वित्तीय वर्ष 2020- 21 में विभिन्न विभागों ने अपनी कार्य योजना तैयार कर बजट की मांग जिला योजना में की थी। जिसमें 409 करोड़ 12 लाख का बजट स्वीकृति हुआ था और अब तक 300 करोड़ 71 लाख का आवंटन और व्यय हो चुका है। अभी वित्तीय वर्ष में तीन माह शेष हैं। ऐसे में अभी अवशेष बजट जारी होने की उम्मीद जताई जा रही है। 




इसमें कृषि विभाग 28 लाख, गन्ना विभाग 758.23, लघु सिंचाई विभाग 335, पशुपालन विभाग 198.49, दुग्ध विकास 112.55, वन विभाग 900.34, राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन 312, मनरेगा 17613.74, पंचायतीराज 1094, राजकीय लघु सिचाई विभाग ने 85 लाख रुपये की मांग की थी। नेडा ने 50 लाख, खादी ग्रामोद्योग दो लाख, लोक निर्माण विभाग 4347.77, पर्यावरण 10, पर्यटन 270, बेसिक शिक्षा 250.15, माध्यमिक शिक्षा 650, पॉलीटेक्निक 186.19, प्रादेशिक विकास दल 24.24 लाख व परिवार कल्याण ने एक करोड़ रुपये बजट मांगा था। 




एलोपैथिक चिकित्सा के लिए 265 लाख, आयुर्वेदिक एवं यूनानी चिकित्सा 30, होम्योपैथिक चिकित्सा 110, नगरीय पेयजल 150, ग्रामीण स्वच्छता 7426, ग्रामीण आवास के लिए 1185.60 लाख रुपये की आवश्यकता बताई गई थी। अनुसूचित जाति कल्याण के लिए 204.60 लाख, पिछड़ा वर्ग कल्याण 85.22, अल्पसंख्यक कल्याण 130, सामान्य जाति के छात्रों को छात्रवृत्ति 799.98, औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान 150, समाज कल्याण 20ऐ90.40 व दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग के लिए 120.90 लाख रुपये मांगे गए थे। 



महिला कल्याण विभाग ने 186.60 लाख, सिचाई एवं जल संसाधन 150 लाख व सहकारिता विभाग ने पांच करोड़ रुपये की कार्ययोजना तैयार कर प्रस्तुत किया था। इनकों स्वीकृति मिली थी और अब नए वित्तीय वर्ष के लिए बजट तैयार किया गया है जिसका अनुमोदन होना है।




जिम्मेदार के बोल

मुख्य विकास अधिकारी शशांक त्रिपाठी ने बताया कि जिला योजना की बैठक जल्द ही होगी और तय बजट स्वीकृत होगा। प्रभारी मंत्री की व्यस्तता से बैठक टाल दी गई है। विभागों की कार्य योजना तैयार है बैठक होते ही प्रस्तुत किया जाएगा।






रिपोर्ट-अतुल कुमार यादव




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